था जलाना तो तेरा तासीर ऐ इश्क़ आग तुझको मेरे दिल से हे परदा -दारी क्या करूं था जलाना तो तेरा तासीर ऐ इश्क़ आग तुझको मेरे दिल से हे परदा -दारी क्या करूं
जब बातों में तेरी शायरी झलकेगी तुझे ही मैं ग़ज़ल समझ लूंगा जब बातों में तेरी शायरी झलकेगी तुझे ही मैं ग़ज़ल समझ लूंगा
बहुत सह लिए ग़म जुदाई का फिर से ये रोग लगाना नहीं चाहता बहुत सह लिए ग़म जुदाई का फिर से ये रोग लगाना नहीं चाहता
मेरी ख़ामोशी उनकी ख़ामोशी बयां क्र जाएगी मेरी ख़ामोशी उनकी ख़ामोशी बयां क्र जाएगी
धड़कन रुके, जान जाये हो कोई भी अंजाम, धड़कन रुके, जान जाये हो कोई भी अंजाम,
कहीं मुलाकात अधूरी सी है, कहीं कहानी अधूरी सी है कहीं मुलाकात अधूरी सी है, कहीं कहानी अधूरी सी है